शिक्षा, स्वास्थ्य और तीर्थ पर नहीं लगेगा GST

नयी दिल्ली: दो अप्रैल (भाषा) वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) के कार्यान्वयन के बाद भी शिक्षा, हेल्थकयर व तीर्थाटन पर सेवा कर नहीं लगेगा क्योंकि केंद्र सरकार इस नयी कर प्रणाली के पहले साल ही किस तरह का झटका नहीं देना चाहती.
राजस्व सचिव हसमुख अधिया ने बताया कि केंद्र सरकार जीएसटी के कार्यान्वयन के पहले साल नयी सेवाओं को जीएसटी के दायरे में लाने खिलाफ है इसलिए शिक्षा, हेल्थकेयर तथा तीर्थाटन सेवाकर दायरे से बाहर ही रहेंगे.
उन्होंने कहा कि केंद्र ने जीएसटी परिषद की बैठक में उन सेवाओं को नहीं छूने को जोरदार ढंग से रखा है जो फिलहाल कर दायरे में नहीं आतीं. इसके साथ ही केंद्रीय परिवहन जैसे सेवाओं के लिए मौजूदा रियायती दर रखने पर जोर देगा.
जीएसटी परिषद की अगली बैठक 18-19 मई
वित्त मंत्री अरुण जेटली की अध्यक्षताल वाली जीएसटी परिषद में सभी राज्यों के प्रतिनिधि शामिल हैं. परिषद की अगली बैठक 18-19 मई को श्रीनगर में होगी जिसमें विभिन्न वस्तुओं और सेवाओं के लिए दरों पर फैसला होगा. सरकार जीएसटी का कार्यान्वयन एक जुलाई से करने का लक्ष्य लेकर चल रही है.
अधिया ने कहा कि केंद्र चाहता है कि जिंसों व सेवाओं पर कर की मौजदूा दर भी नयी वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) प्रणाली में भी बनी रहे. सचिव ने कहा कि सरकार चाहेगी कि जीएसटी के कार्यान्वयन के बाद किसी सेवा को शामिल करने या दर में बदलाव के बारे में फैसला दूसरे या तीसरे साल ही किया जाए और यह निर्णय राजस्व संग्रहण के आधार पर हो. फिलहाल सेवाओं की नकारात्मक सूची में 17 मदों पर कोई सेवा कर नहीं लगता है.

Post a Comment

[blogger]

MKRdezign

Contact Form

Name

Email *

Message *

Powered by Blogger.
Javascript DisablePlease Enable Javascript To See All Widget